'विश्व डाक दिवस' (9 अक्तूबर) के साथ-साथ पूरे देश में 9-14 अक्तूबर तक चलने वाले राष्ट्रीय डाक सप्ताह का आरंभ हुआ.मुख्यभूमि के साथ-साथ सुदूर अंडमान-निकोबार द्वीप समूह में भी हर्षोल्लास के साथ इसे मनाया जा रहा है. एक तरफ जहाँ डाक मेलों द्वारा लोगों को डाकघरों की सेवाओं के बारे में बताने के साथ-साथ राजस्व अर्जन पर जोर दिया जा रहा है, वहीँ नई पीढ़ी को डाक घरों से जोड़ने हेतु भी बच्चों के लिए डाक घरों का विजिट, डाक टिकट प्रदर्शनी, पत्र-लेखन, पेंटिंग और प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिताएं आयोजित की जा रही हैं. पोर्टब्लेयर में राष्ट्रीय डाक सप्ताह का उद्घाटन निदेशक डाक सेवाएं श्री कृष्ण कुमार यादव द्वारा किया गया। इस अवसर पर श्री यादव ने कहा कि डाकघर ही एक मात्र ऐसा संस्थान है जो देश के सुदूरतम कोनो को जोडता है और इस तरह ऐसे क्षेत्रों में रह रहे लोगो को तमाम सुविधा मिलना सुनिश्चित हो जाती हैं। श्री यादव ने कहा कि इन द्वीपों में सभी प्रमुख डाक सेवाएं उपलब्ध हैं, जो मुख्य भूमि में मिलती हैं।
राष्ट्रीय डाक सप्ताह के तहत अंडमान-निकोबार द्वीप समूह में 10 अक्टूबर को ‘बचत बैंक दिवस‘ के रूप में मनाया गया। इस अवसर पर जहाँ बचत मेला लगाया गया, वहीं लोगों को बचत बैंक सेवाओं के बारे मे जानकारी देते हुए बचत खाते खोलने की तरफ प्रवृत्त किया गया। डाक निदेशक श्री कृष्ण कुमार यादव ने कहा नेटवर्क की दृष्टि से डाकघर बचत बैंक देश का सबसे बड़ा रीटेल बैंक है।
172 मिलियन से अधिक खाताधारकों के ग्राहक आधार और 1,54,000 शाखाओं के नेटवर्क के साथ डाकघर बचत बैंक देश के सभी बैंकों की कुल संख्या के दोगुने के बराबर है। द्वीप समूह के डाकघरों से बचत खाता, आवर्ती जमा, सावधि जमा, मासिक आय स्कीम, लोक भविष्य निधि, किसान विकास पत्र, राष्ट्रीय बचत पत्र और वरिष्ठ नागरिक बचत स्कीम की खुदरा बिक्री की जाती है। ज्ञातव्य है कि ये सभी जमा राशियाँ केन्द्र सरकार द्वारा राज्यों के विकास कार्यों के लिए दी जाती हैं। डाकघर की जमा योजनाओं में आकर्षक ब्याज दरें हैं। द्वीप समूह में वर्तमान में लगभग 1 लाख 8 हजार खाते चल रहे हैं और वित्तीय वर्ष 2010-11 के दौरान लगभग 67 करोड़ रूपये डाकघरों में जमा हुए। वर्तमान परिवेश में डाक विभाग वन स्टाप शाप के तहत बचत, बीमा, गैर बीमा, पेंशन प्लान इत्यादि सेवायें प्रदान कर रहा है। इनमें से कई सेवायें अन्य फर्मों के साथ अनुबंध के तहत आरम्भ की गयी हैं। मनरेगा के तहत कुशल/अर्ध-कुशल/अकुशल मजदूरों के लिए रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने में भारत सरकार को सहयोग देते हुए डाकघर मजदूरी का भुगतान करने का माध्यम भी बन चुका है। द्वीप समूह में मनरेगा के 269 खाते संचालित है।
निदेशक श्री कृष्ण कुमार यादव ने कहा कि यह एक सुखद संकेत है कि डाक-सेवाएं नवीनतम टेक्नालाजी का अपने पक्ष में भरपूर इस्तेमाल कर रही हैं। डाकघरों की मनीआर्डर सेवा को द्रुतगामी बनाते हुए इसे “ई-मनीआर्डर“ में तब्दील कर दिया गया है। 'इंस्टेंट मनीआर्डर सेवा’ के तहत संपूर्ण भारत में आनलाइन मनी ट्रांसफर के तहत धनादेश भेजने व प्राप्त करने की सुविधा है। विदेशों में रह रहे व्यक्तियों द्वारा द्वीप समूहों में अपने परिजनों को तत्काल धन अन्तरण सुलभ कराने हेतु ’वेस्टर्न यूनियन’ के सहयोग से ’अंतर्राष्ट्रीय धन अन्तरण सेवा’ पोर्टब्लेयर, बम्बूफलाट और हैवलाक डाकघरों में उपलब्ध है। इसी क्रम में 11 अक्टूबर को 'मेल दिवस' मनाया गया जिसमें स्कूली बच्चों ने प्रधान डाकघर का दौरा किया जिसमें स्कूली बच्चों को मेल सार्टिगं, मेल वितरण,बचत बैंक, फिलैटलिक,प्रोजेक्ट एरो एंव टेक्नालॅाजी इत्यादि के बारे बताया गया। डाक निदेशक श्री यादव ने बताया कि 12 अक्टूबर को फिलैटलिक दिवस के रुप में मनाया जाएगा। जिसमें स्कूली बच्चों के लिए पत्र लेखन,प्रश्नोत्तरी एंव पेटिंग प्रतियोगिताएं आयोजित की जाएंगी। डाक विभाग के कर्मचारियों के साथ-साथ स्कूली बच्चों में भी डाक-सप्ताह के प्रति काफी उत्साह देखा जा रहा है.
राष्ट्रीय डाक सप्ताह के तहत अंडमान-निकोबार द्वीप समूह में 10 अक्टूबर को ‘बचत बैंक दिवस‘ के रूप में मनाया गया। इस अवसर पर जहाँ बचत मेला लगाया गया, वहीं लोगों को बचत बैंक सेवाओं के बारे मे जानकारी देते हुए बचत खाते खोलने की तरफ प्रवृत्त किया गया। डाक निदेशक श्री कृष्ण कुमार यादव ने कहा नेटवर्क की दृष्टि से डाकघर बचत बैंक देश का सबसे बड़ा रीटेल बैंक है।
172 मिलियन से अधिक खाताधारकों के ग्राहक आधार और 1,54,000 शाखाओं के नेटवर्क के साथ डाकघर बचत बैंक देश के सभी बैंकों की कुल संख्या के दोगुने के बराबर है। द्वीप समूह के डाकघरों से बचत खाता, आवर्ती जमा, सावधि जमा, मासिक आय स्कीम, लोक भविष्य निधि, किसान विकास पत्र, राष्ट्रीय बचत पत्र और वरिष्ठ नागरिक बचत स्कीम की खुदरा बिक्री की जाती है। ज्ञातव्य है कि ये सभी जमा राशियाँ केन्द्र सरकार द्वारा राज्यों के विकास कार्यों के लिए दी जाती हैं। डाकघर की जमा योजनाओं में आकर्षक ब्याज दरें हैं। द्वीप समूह में वर्तमान में लगभग 1 लाख 8 हजार खाते चल रहे हैं और वित्तीय वर्ष 2010-11 के दौरान लगभग 67 करोड़ रूपये डाकघरों में जमा हुए। वर्तमान परिवेश में डाक विभाग वन स्टाप शाप के तहत बचत, बीमा, गैर बीमा, पेंशन प्लान इत्यादि सेवायें प्रदान कर रहा है। इनमें से कई सेवायें अन्य फर्मों के साथ अनुबंध के तहत आरम्भ की गयी हैं। मनरेगा के तहत कुशल/अर्ध-कुशल/अकुशल मजदूरों के लिए रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने में भारत सरकार को सहयोग देते हुए डाकघर मजदूरी का भुगतान करने का माध्यम भी बन चुका है। द्वीप समूह में मनरेगा के 269 खाते संचालित है।
निदेशक श्री कृष्ण कुमार यादव ने कहा कि यह एक सुखद संकेत है कि डाक-सेवाएं नवीनतम टेक्नालाजी का अपने पक्ष में भरपूर इस्तेमाल कर रही हैं। डाकघरों की मनीआर्डर सेवा को द्रुतगामी बनाते हुए इसे “ई-मनीआर्डर“ में तब्दील कर दिया गया है। 'इंस्टेंट मनीआर्डर सेवा’ के तहत संपूर्ण भारत में आनलाइन मनी ट्रांसफर के तहत धनादेश भेजने व प्राप्त करने की सुविधा है। विदेशों में रह रहे व्यक्तियों द्वारा द्वीप समूहों में अपने परिजनों को तत्काल धन अन्तरण सुलभ कराने हेतु ’वेस्टर्न यूनियन’ के सहयोग से ’अंतर्राष्ट्रीय धन अन्तरण सेवा’ पोर्टब्लेयर, बम्बूफलाट और हैवलाक डाकघरों में उपलब्ध है। इसी क्रम में 11 अक्टूबर को 'मेल दिवस' मनाया गया जिसमें स्कूली बच्चों ने प्रधान डाकघर का दौरा किया जिसमें स्कूली बच्चों को मेल सार्टिगं, मेल वितरण,बचत बैंक, फिलैटलिक,प्रोजेक्ट एरो एंव टेक्नालॅाजी इत्यादि के बारे बताया गया। डाक निदेशक श्री यादव ने बताया कि 12 अक्टूबर को फिलैटलिक दिवस के रुप में मनाया जाएगा। जिसमें स्कूली बच्चों के लिए पत्र लेखन,प्रश्नोत्तरी एंव पेटिंग प्रतियोगिताएं आयोजित की जाएंगी। डाक विभाग के कर्मचारियों के साथ-साथ स्कूली बच्चों में भी डाक-सप्ताह के प्रति काफी उत्साह देखा जा रहा है.
9 comments:
सुन्दर आयोजन..बधाइयाँ.
सुन्दर आयोजन..बधाइयाँ.
बढ़िया आयोजन,शुभकामनायें.
जहाँ के.के. जी जैसे साहित्यकार और संवेदनशील लोग रहेंगें, वहां कार्यक्रमों की गरिमा अपने आप बढ़ जाती है. आयोजन के लिए बधाई.
हम तो आज भी पत्र लिखते हैं. पत्रों की आत्मीय दुनिया बड़ी सुखद लगती है.
राष्ट्रीय डाक सप्ताह का आज समापन हो रहा है...बधाइयाँ.
Big Brother, Looking Dashing !!
यहाँ कानपुर तो आपके बिना सूना ही रहा...आप जहाँ भी रहते हैं, कार्यक्रम होते रहते हैं.
डाक विभाग की विशालता तो वाकई अनुपम है. हर व्यक्ति तक पहुँच. इस सुन्दर कार्यक्रम के आयोजन के लिए बधाइयाँ.
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